मनुष्य के हृदय में होता है भगवान का वास-पंडित शक्ति मुगलसराय चन्दौली तारा जीनपुर क्षेत्र स्थित सहरोई गांव में विगत पांच वर्षों की भांति इस वर्ष भी श्री हनुमान जयंती के पावन अवसर नवयुवक मंगल दल सहरोई के तत्वाधान में सप्त दिवसीय संगीमय श्रीराम कथा का आयोजन किया गया है। कथा के दूसरे दिन पंडित शक्ति तिवारी ने नारायण के दिव्य अवतार को समझाते हुए कहा की भगवान का अवतार प्रत्येक मनुष्य के हृदय वेश में होता है। अवतार को समझाते हुए उन्होंने कहा कि भगवान अपनी भावना को छोड़कर के धेनु, सुर, संत, हित में लिन्ह, मनुज अवतार भगवान ब्राह्मणों के गाय माता, के और संतों के हितों के लिये धरती पर मनुष्य का शरीर धारण करके आते हैं। इसी को समझाते हुए भगवान के बाललीला का भी वर्णन किया और उन्होंने बतलाया की चक्रवर्ती सम्राट राजा दशरथ एक पुत्र के लिए रो रहे थे और गुरु वशिष्ट के द्वारा श्रृंगी ऋषि के पुत्र प्राप्ति यज्ञ करने से तुमको चार-चार पुत्रों की प्राप्त हुयी। इसी के बाद चारों पुत्रों का नामांकरण गुरु वशिष्ट के द्वारा करवाते हुए इन्होंने बतलाया की विश्वामित्र जो की महान ऋषि थे। असुरों का समूह जब उन्हें सताया तो उन्हें भी भगवान को मांगने की जरूरत पड़ी और विश्वामित्र सनाथ हुये और भगवान वन में तारकासुर का एक ही बाण में बध कर दिये। मारीच व सुबाहु को अग्निबाण से यज्ञ की रक्षा की। इस दौरान सैकड़ां लोगो का जन सैलाब उमड़ा रहा। कार्यकर्ता राहुल मिश्रा, अमित मिश्रा, रोहित, पवन, शिशु मिश्रा, विराट, उमेश, महानंद, दिनेश, शुभम, गोलू, तबला वादक अनिल तिवारी, सैकड़ां श्रद्धालु उपस्थित रहे।

रिपोर्ट मनोज मिश्रा

ओम नगर, पंडित दीनदयाल उपाध्याय नगर में गणपति जी की पूजा संपन्न

ओम नगर, पंडित दीनदयाल उपाध्याय नगर में गणपति जी की मूर्ति स्थापित कर भव्य पूजा-अर्चना की गई। इस अवसर पर श्रद्धालुओं ने विधि-विधान से पूजा कर गणपति बप्पा का आशीर्वाद प्राप्त किया।

कार्यक्रम में प्रमुख रूप से संजय रस्तोगी, संजय गोंड, मनीष गुप्ता, मनीष निगम, कल गुप्ता, प्रकाश यादव, दीपक रस्तोगी, विक्की रस्तोगी, मनोज यादव, सुशील, संतोष सेठ, रुपेश, मारकंडे प्रजापति सहित अन्य श्रद्धालु एवं कार्यकर्ताओं ने अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

इस धार्मिक आयोजन में विश्व हिंदू परिषद, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ, पूर्वांचल वैश्य फाउंडेशन तथा मानवाधिकार न्यूज़ के पदाधिकारी और कार्यकर्ता भी सम्मिलित हुए।

पूजा संपन्न होने के बाद श्रद्धालुओं ने एक-दूसरे को गणपति बप्पा मोरया के जयकारों के साथ बधाई दी और आयोजन की सराहना की।