मानवाधिकार न्यूज़ के राष्ट्रीय अध्यक्ष जी द्वारा कोचिंग अध्यापक को दी गई रामायण ग्रंथ

रिपोर्ट राहुल मेहानी
रिपोर्ट राहुल मेहानी

आज मैंने अपने बच्चों और हमारे प्रिय मित्र, कोचिंग अध्यापक  शोभित भास्कर जी को रामायण ग्रंथ की पुस्तकें प्रदान कीं। मैंने उनसे विनम्र निवेदन किया कि बच्चों को श्री राम के जीवन और उनके आदर्शों के बारे में जानकारी दी जाए, ताकि वे हमारे महान सांस्कृतिक और धार्मिक ग्रंथों से प्रेरणा ले सकें।

इस पहल को देखकर  शोभित भास्कर जी बहुत प्रसन्न हुए। उन्होंने बताया कि उनके कोचिंग क्लास के बच्चे अक्सर उनसे रामायण, भागवत गीता, और हनुमान जी की कहानियों के बारे में सुनने की इच्छा व्यक्त करते हैं। बच्चे इन कहानियों पर कई सवाल भी पूछते हैं, जिससे यह स्पष्ट होता है कि वे हमारी संस्कृति और धार्मिक ग्रंथों के प्रति कितने उत्सुक और जिज्ञासु हैं।

उन्होंने यह भी कहा कि यह अत्यंत सराहनीय कदम है, क्योंकि इससे बच्चों में न केवल धार्मिक और सांस्कृतिक ज्ञान बढ़ेगा, बल्कि वे अच्छे संस्कार और नैतिक मूल्य भी सीखेंगे। उन्होंने इस प्रयास को और अधिक सफल बनाने के लिए हर संभव सहयोग का आश्वासन दिया।

हमारा उद्देश्य है कि आने वाली पीढ़ी रामायण जैसे अमूल्य ग्रंथों से प्रेरणा लेकर सत्य, धर्म और मर्यादा के मार्ग पर चल सके। इस पहल को और अधिक विस्तार देने का हमारा प्रयास जारी रहेगा।

मिर्जापुर के कछवां थाना क्षेत्र के नरायनपुर गांव निवासी चंद्र प्रकाश पटेल, जो भारतीय सेना के जवान थे, युद्धाभ्यास के दौरान तोप पर शहीद हो गए। सेना के सूबेदार नरेंद्र सिंह ने बताया कि यह तोप पर कैजुएल्टी का मामला है। शहीद जवान का पार्थिव शरीर सेना द्वारा आज दोपहर में कछवां लाया जाएगा, जहां पूरे राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार गंगा तट पर किया जाएगा।
चंद्र प्रकाश पटेल का 2010 में भारतीय सेना में पहले प्रयास में चयन हुआ था। वह सेना की 99वीं बटालियन में तैनात थे और इन दिनों राजस्थान के सूरतगढ़ में तैनात थे। 22 अक्टूबर को वह घर आए थे, और एक सप्ताह के बाद सेना की ड्यूटी के लिए वापस लौट गए थे।
शहीद के परिवार में मातम, गांव में उमड़ी भीड़ चंद्र प्रकाश के निधन की सूचना मिलते ही गांव में गम का माहौल छा गया। शहीद जवान की पत्नी स्नेहा पटेल और ढाई साल के बेटे अयांश के साथ उनका परिवार गहरे शोक में डूबा हुआ है। परिवार के अन्य सदस्य, विशेष रूप से उनके माता-पिता राजपति और राजनाथ पटेल, जो शहादत की खबर सुनकर विलाप कर रहे थे, इस दुःखद घटना से बुरी तरह प्रभावित हैं।

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